शेखी बघारते बघेल दो ही काम कर रहे हैं, एक केंद्र सरकार से पैसे मांगने चिठ्ठियाँ लिखना और दूसरा, कर्ज़ लेना।: भाजपा

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उपासने का कटाक्ष : यह देश की संभवत: पहली राज्य सरकार, जो कर्ज़ लेने वाली सरकार का ख़िताब हासिल करेगी

 रायपुर (khabargali) भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता सच्चिदानंद उपासने ने एक प्रेस रिलीज जारी कर प्रदेश सरकार द्वारा फिर 700 करोड़ रुपए का कर्ज़ लिए जाने पर तीखा कटाक्ष किया है कि यह देश की संभवत: पहली राज्य सरकार होगी जो सत्ता में आने के बाद से केवल कर्ज़ लेने वाली सरकार का ख़िताब हासिल करेगी। श्री उपासने कहा कि प्रदेश की बेहतर आर्थिक स्थिति की शेखी बघारते मुख्यमंत्री भूपेश बघेल घूम-फिरकर दो ही काम कर रहे हैं, एक केंद्र सरकार से जब-तब पैसे मांगने के लिए चिठ्ठियाँ लिखना और दूसरा, घूम-फिरकर रिज़र्व बैंक से कर्ज़ लेना।

भाजपा प्रवक्ता उपासने ने कहा कि प्रदेश सरकार अपने आर्थिक संसाधनों के विकास और अर्थोपार्जन के नए स्रोत विकसित करने के बजाय लगाता कर्ज़ लेकर छत्तीसगढ़ पर कर्ज़ का बोझ बढ़ाती ही जा रही है। मंगलवार को राज्य सरकार ने फिर जो 700 करोड़ रुपए का कर्ज़ लिया है, वह उसे आने वाले तीन वर्षों में 5.09 फीसदी की ब्याज दर के साथ लौटाना होगा। अभी प्रदेश सरकार 360.80 करोड़ रुपए का मासिक ब्याज चुका रही है।

श्री उपासने ने कहा कि मार्कफेड और नान के लगभग 05 हज़ार करोड़ रुपए के भुगतान के लिए प्रदेश सरकार ने 700 करोड़ रुपए का कर्ज़ लेकर अब भी पूरे भुगतान के उद्देश्य में क़ामयाब नहीं हो पाएगी। किसानों के विभिन्न भुगतानों के लिए प्रदेश सरकार शुरू से कर्ज़ लेकर ही काम चला रही है। अभी हाल ही किसानों की अंतर राशि की दूसरी किश्त और गौ-धन गोबर योजना के भुगतान के लिए भी प्रदेश सरकार 13सौ करोड़ रुपए का कर्ज़ लिए बैठी है।

भाजपा प्रदेश प्रवक्ता उपासने ने कहा कि बहुत आवश्यक होने पर सीमित कर्ज़ लेकर व्यवस्था को सुचारू बनाना एक बात है लेकिन कर्ज़ ले-लेकर सरकार चलाना तो निकम्मेपन की पराकाष्ठा है। प्रदेश में आर्थिक संसाधन जुटाने के बजाय यह प्रदेश सरकार जिस रफ़्तार से कर्ज़ लिए जा रही है, वह छत्तीसगढ़ को दलदल में धँसाने वाला काम है। श्री उपासने ने कहा कि एक तरफ प्रदेश सरकार कर्ज़ पे कर्ज़ लिए जा रही है और जब जीएसटी के मुद्दे पर केंद्र सरकार ने कर्ज़ लेने को कहा तो मिथ्या राजनीतिक प्रलाप करते मुख्यमंत्री बघेल ने इससे मना करके उल्टे केंद्र सरकार को कर्ज़ लेकर प्रदेश के जीएसटी की राशि के भुगतान की बात कहकर अपने सत्तावादी अहंकार में चूर बड़बोलेपन का परिचय दिया था। उपासने कहा कि कर्ज़ लेकर भी प्रदेश सरकार अपने किसानों और दीगर मदों के भुगतानों को एकमुश्त चुकता नहीं कर पा रही है, यह प्रदेश सरकार की अक्षमता और नासमझी का परिचायक है।