ऑनलाइन कक्षा का विरोध जताया..ख़बरगली विशेष
कोयलीबेड़ा / कांकेर @ लीलाधर निर्मलकर (khabargali)
फैक्ट फाइल:
1.अट्ठारह पंचायत वाले कोयलीबेड़ा क्षेत्र में आदिवासियों के लिए हायर सेकंडरी स्कूल और कॉलेज ही नहीं.
2. मोबाइल नेटवर्क और मोबाइल के अभाव में ऑनलाइन पढाई ठप्प.
3.एक घंटे की मोहल्ला क्लास भी नाम मात्र की .
4. ज्यादातर सरकारी स्कूलों शिक्षक ही नहीं आते.
5. कुछ जगहों पर एकल शिक्षक के भरोसे पढाई.
उत्तर बस्तर कांकेर जिले के कोयलीबेड़ा में आज हजारों आदिवासियों ने केंद्र और राज्य सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। बस्तर में बदहाल शिक्षा व्यवस्था को दुरुस्त करने की मांग को लेकर 18 ग्राम पंचायतों के 68 गांवो के हजारों लोगों ने रैली निकाली और आनलाइन कक्षा का विरोध जताया। 18 पंचायत वाले कोयलीबेड़ा क्षेत्र के इस इलाके में आदिवासियों के लिए हायर सेकंडरी स्कूल और कॉलेज नहीं है। अंदरूनी गांवो में हालत और भी खराब है। इधर सरकार कोरोना महामारी के कारण आनलाइन कक्षाओं की बात करतीं हैं पर ज्यादातर आदिवासी बच्चों को ऑनलाइन पढाई करने में भी समस्या हो रही है। क्योंकि यहां मोबाइल नेटवर्क के अलावा गरीबी के कारण मोबाइल फोन ही नहीं है। और तो और मोहल्ला क्लास 1 घंटे की जो सरकार ने व्यवस्था बनाईं है वो भी नाम मात्र की है जिससे क्षेत्र के ननिहाल शिक्षा से दूर हो रहें हैं। इस क्षेत्र में विधायक और सांसद ने भी स्कूल कॉलेज खोलने के लिए कोई प्रयास नहीं किया। जबकि यहां के ज्यादातर सरकारी स्कूलों शिक्षक ही नहीं आते हैं। कुछ जगहों पर एकल शिक्षक के भरोसे पढाई हो रही है। आज हुए इस आंदोलन में सैकड़ों की संख्या में अभिवावकों के साथ स्कूली बच्चों ने भी रैली में भाग लिया ।
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