एनआईए ने अमरावती हत्या को टेरर एक्ट घोषित किया
'मास्टरमाइंड' इरफान खान 7 जुलाई तक पुलिस हिरासत में
मुंबई (khabargali) अमरावती में उमेश कोल्हे की हत्या में शामिल एक आरोपी उसी व्हाएट्स ग्रुप में था जिसमें उमेश कोल्हे ने कथित तौर पर निलंबित बीजेपी नेता नुपूर शर्मा के समर्थन में पोस्ट किया था. बता दें कि अमरावती में 21 जून की रात को दुकान से घर लौटते वक्त 54 साल के केमिस्ट उमेश प्रहलादराव कोल्हे की 21 जून को बेरहमी से हत्या कर दी गई थी और इस सिलसिले में मास्टर माइंड समेत सात लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है. इन हत्यारोपियों के नाम मुदस्सिर अहमद, शाहरुख पठान, अब्दुल तौफीक, शोएब खान, आतिब राशिद, युसूफ खान, शाहिम अहमद और इरफान खान है. इन सभी आरोपियों पर पुलिस ने यूएपीए लगाया है. इस मामले में पुलिस ने चार लोगों को गिरफ्तार भी किया है.
पुलिस, हत्या की वजह फेसबुक पर नुपुर शर्मा के समर्थन में पोस्ट को मान रही है. NIA ने इन आरोपियों के खिलाफ कमिटिंग एक्ट ऑफ टेरर की धाराओं के तहत भी मामला दर्ज किया है. उदयपुर में हुई हत्या की घटना से समानता को देखते हुए केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस हत्याकांड की जांच एनआईए को सौंप दी है. जांच में सामने आया है कि इरफान रायबर हेल्पलाइन नाम की एक एनजीओ चलाता है और इससे तकरीबन 21 लोग जुड़े हुए हैं.सूत्रों के मुताबिक, हत्याकांड में शामिल अन्य आरोपी भी इसी एनजीओ या फिर हम इसे आतंकी संगठन भी कह सकते हैं से जुड़े हुए हैं. एनआईए ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है. जांच एजेंसीज को यह जानकारी मिली है कि इस एनजीओ को कुछ खाड़ी देशों और पाकिस्तान से फंडिंग हो रही थी।
कभी अच्छे दोस्त थे दोनों
उमेश कोल्हे के भाई, महेश कोल्हे ने बताया कि, हत्या के आरोप में गिरफ्तार युसूफ खान उमेश के दोस्त थे. वह एक पशु चिकित्सक हैं और हम उन्हें साल 2006 से जानते हैं. युसूफ खान उन 7 आरोपियों में से एक है जिन्हें उमेश कोल्हे की हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. उमेश के भाई महेश ने दावा किया है कि आरोपी यूसुफ खान उर्फ बहादुर खान उनके भाई का बहुत करीबी दोस्त था. यूसुफ की कई बार उमेशा मदद कर चुके थे. महेश ने कहा कि, हम जानना चाहते हैं कि इतने शांत और सरल व्यक्ति जिनकी किसी के साथ कोई दुर्भावना नहीं थी, ऐसे में उनकी हत्या इस तरह से क्यों की गई. हमारी मांग है कि ट्रायल फास्ट-ट्रैक कोर्ट में हो और दोषियों को कड़ी सजा दी जाए.
वायरल मैसेज बना हत्या की वजह
सूत्रों के मुताबिक उमेश कोल्हे की हत्या की वजह एक वायरल मैसेज बन गया जिसको उसने एक व्हॉट्सअप ग्रुप में गलती से फॉरवर्ड कर दिया था. हत्यारोपी युसुफ की नजर इस मैसेज पर पड़ी और तभी से उसने उनके इस मैसेज को वायरल कर दिया.
पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट चौंकाने वाली
अमरावती के केमिस्ट उमेश कोल्हे की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आ गई है. रिपोर्ट में बताया गया है कि चाकू के हमले की वजह से उमेश की दीमाग की नस डैमेज हो गई थी मामले में रविवार को पोस्टमार्टम की रिपोर्ट में कई खुलासे हुए हैं. पोस्टमार्टम रिपोर्ट से पता चला कि आरोपियों ने जिस तरह से उमेश कोल्हे पर हमला किया उस चाकू के एक हमले की वजह से उमेश की दिमाग की नस, सांस लेने वाली नलिका, खाना खाने वाले नली और आंख की नस को डैमेज कर दिया था. पोस्टमार्टम में यह भी पता चला है कि जो जख़्म हुआ था वो 5 इंच चौड़ा, 7 इंच लंबा और 5 इंच गहरा था.
आरोपियों ने ऐसे की रेकी, रची हत्या की साजिश
अमरावती पुलिस सूत्रों ने बताया की 19 जून को आतिब, शोएब और इरफान की मीटिंग हुई थी. 21 जून को तीन लोग दुकान के पास खड़े थे जिन्होंने आगे खड़े तीन हमलावरों को उमेश कोल्हे की पल पल की जानकारी दी.हत्या करने के लिए जिस चाकू का इस्तेमाल किया गया वो 12-14 इंच लम्बा था, इस चाकू को शोएब ने अपने किसी दोस्त से 300 रुपए में खरीदा था पुलिस उस दोस्त को ढूँढ जिसने वो चाकू बेचा था. इस पूरी वारदात के बाद इरफ़ान ने इनके भागने के लिए फोर व्हीलर गाड़ी मुहैय्या कराई यूसफ़ खान ने उमेश कोल्हे से 2 लाख रुपये की दवाई क्रेडिट पर ले रखी थी
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